ममता के ट्वीट पर ‘जजों का प्रेस कांफ्रेंस’ मामला गर्माया
नई दिल्ली: राजनीती की गलियारी में सुप्रीम कोर्ट के जजों द्वारा किये गये प्रेस कांफ्रेंस अभी की सबसे हॉट केक है। इस केक का स्वाद पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी को काफी पसंद आया है। और इसीलिए उन्होंने सुप्रीम कोर्ट के चार वरिष्ठ जजों द्वारा किये गये प्रेस कांफ्रेंस और सुप्रीम कोर्ट की कार्यशैली पर सवाल उठा दिया। ममता बनर्जी ने केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए कई ट्वीट करके कहा कि देश का लोकतंत्र खतरे में है। ममता ने लिखा, “हम आज सुप्रीम कोर्ट के 4 जजों के उठाए गए सवाल से दुखी हैं। सुप्रीम कोर्ट के प्रशासन के बारे में सुप्रीम कोर्ट द्वारा उठाए गए सवालों से एक नागरिक के तौर पर मैं बहुत दुखी हू। न्यायपालिका और मीडिया लोकतंत्र के स्तंभ हैं. केंद्र सरकार का न्यायपालिका में बहुत ज्यादा दखल लोकतंत्र के लिए खतरनाक है।” उधर, बीजेपी ने कहा है कि ममता बनर्जी के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया जाहिर की है। बीजेपी ने उन्हें लोकतंत्र की दुश्मन करार दिया है।
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उच्चतम न्यायालय के चार वरिष्ठ न्यायाधीशें द्वारा खुलेआम शीर्ष न्यायालय में स्थिति ठीक नहीं बताये जाने के बीच कांग्रेस ने शुक्रवार (12 जनवरी) को कहा कि ‘लोकतंत्र खतरे में है।’ कांग्रेस पार्टी के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर कहा गया, ‘‘हम यह सुनकर बहुत चिंतित हैं कि उच्चतम न्यायालय के चार न्यायाधीशों ने शीर्ष न्यायालय के कामकाज पर चिंता जतायी है। लोकतंत्र खतरे में है।’’ एक अप्रत्याशित कदम में उच्चतम न्यायालय के चार वरिष्ठ न्यायाधीशों ने संवाददाता सम्मेलन बुलवाया और कि उच्चतम न्यायालय में स्थिति ठीक नहीं है तथा कई ऐसी चीजें हुईं जिनकी जरूरत नहीं थी। चारों न्यायाधीशों ने कहा कि जब तक संस्थानों ने कहा कि जब तक संस्थानों का संरक्षण नहीं होता, देश में लोकतंत्र नहीं चल पाएगा। उधर, कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी आज शाम पार्टी नेताओं के साथ बैठक कर रहे हैं।