कर्नाटक चुनाव : ‘हनुमान – टीपू सुल्तान अब तेरा ही सहारा’ गाते दिख रहे बीजेपी-कांग्रेस !
न्यूज डेस्क
कोई हनुमान के सहारे तो कोई टीपू सुल्तान के सहारे चुनावी दरिया पार करना चाहता है।कर्नाटक में हनुमान और टीपू सुल्तान के प्रति लोगों के भक्ति को भांपते हुई बीजेपी तथा कांग्रेस जैसी प्रमुख राजनितिक पार्टियां चुनाव में इन दोनों का दमन कसककर पाकर रखा है। ऐसा इसलिए क्योंकि टीपू सुल्तान कर्नाटक के 12.91% मुसलमानों के लिए गौरव का प्रतीक हैं। सीएम सिद्धारमैया टीपू सुल्तान के प्रति श्रद्धावान बने हुए हैं तो दूसरी ओर बीजेपी हनुमान के नाम जप कर रही है। कर्नाटक की करीब 20 शहरी सीटों पर मुसलमान बेहद प्रभावी हैं। यदि पूरे राज्य की बात करें तो 224 विधानसभा सीटों में से करीब 90 पर मुसलमान वोटरों का असर है। इनमें कई पर तो वह सीधा प्रभाव छोड़ते हैं, लेकिन अधिकतर सीटें ऐसी हैं, जहां जहां वे खेल बना भले ही न बनाएं, लेकिन बिगाड़ जरूर सकते हैं।
बहरहाल, टीपू सुल्तान के नाम पर बीजेपी और कांग्रेस की झोली में क्या आता है, यह तो वक्त ही बताएगा, लेकिन मुस्लिम वोटों की जंग सिर्फ यही तक सीमित नहीं है। उदारहण के तौर पर- कर्नाटक में एक स्कीम है- शादी भाग्य योजना। इसके तहत हर मुस्लिम लड़की शादी के लिए 50,000 रुपए दिए जाते हैं। बीजेपी को इस पर कड़ी आपत्ति है। पार्टी ने इस स्कीम को काउंटर करने के लिए विवाह मंगल स्कीम लाने का वादा किया है।