सावधान : लाखों रेल यात्रिओं की जान भूखे चालक के हाथों में
कोलकाता टाइम्स :
रेलवे बोर्ड द्वारा आल इंडिया लोको रनिंग स्टाफ एसोसिएशन (एलारसा) द्वारा आज 15 जुलाई की सुबह 11 बजे से 24 घंटे का जो भूखे रहकर ट्रेन चलाने के आंदोलन पर कड़ा रुख अख्तियार किये जाने की घोषणा की थी, उसका असर पूरे देश में कहीं भी नहीं पड़ा है। सुबह 11 बजे से लोके पायलट, सहायक पायलट व गार्ड्स भूखे ड्यूटी करने पहुंच रहे थे, जिससे रेल यात्रियों की सुरक्षा व संरक्षा को गंभीर खतरा उत्पन्न हो गया है। हालांकि अधिकारी कह रहे हैं कि वे पूरे घटनाक्रम पर नजर रखे हुए हैं। वहीं जबलपुर स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 1 पर स्थित क्रू लॉबी के समक्ष रनिंग स्टाफ धरना-प्रदर्शन पर बैठ गया है।
बता दे कि लोको पायलटों ने विभिन्न मांगों को लेकर हड़ताल पर जाने का फैसला किया है. उनका कहना है कि उनसे दबाब में काम कराया जा रहा है। 9 घंटे के बजाय 12 घंटे से अधिक काम कराया जा रहा है। दूसरी तरफ जबलपुर रेल मंडल के अधिकारियों को अभी तक इसकी कोई जानकारी नहीं है। रनिंग स्टाफ एसोसिएशन के पदाधिकारियों के मुताबिक लोको पायलट, सहायक लोको पायलट और ट्रेन गार्ड की ये हड़ताल पूरे देश भर सहित पश्चिम-मध्य रेलवे के तीनों मंडलों जबलपुर, भोपाल व कोटा में एक साथ चल रही है।
हालाँकि रेलवे बोर्ड निदेशक के अनुसार रेलवे में चक्काजाम, रेल रोकने, भूख हड़ताल (करने पर रेलवे अधिनियम 1989 की धारा 173, 174, 175 के अंतर्गत कार्रवाई होगी। यदि रेल कर्मी हड़ताल में शामिल हुए तो उन्हें नो वर्क नो पे के दायरे में रखा जाएगा और 2 वर्ष की सजा भी हो सकती है।