सावधान: अब मुर्गी में भी होने लगी मिलावट?

हो सकता है कि जब भी आप चिकन खरीदने जाते हों, तो आपको वहां मोटी-मोटी मुर्गियां पिंजडे़ में रखी हुई दिखाई देती हों. ऐसा इसलिये क्योंकि इन्हें हार्मोन के इंजेक्शन लगाए जाते हैं, जिसका मांस खाने के बाद हमारे शरीर में ग्रोथ हार्मोन जाता है और इसका हमारे शरीर पर बुरा असर पड़ता है.
Roxarsone नामक दवा खिलाने से चिकन का वजन बड़ी तेजी से बढ़ता है. 2011 में इस दवाई पर फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन द्वारा बैन लगा दिया गया था, लेकिन कई मुर्गी पालन विभाग आज भी इस दवा का प्रयोग करते हैं. एक स्टडी में पाया गया है कि 97 प्रतिशत चिकन ब्रेस्ट में इंफेक्शन पैदा करने वाले बैक्टीरिया पाए जाते हैं. हांलाकि चिकन में प्रयोग किये जाने वाले एंटीबायोटिक्स और अन्य दवाएं इसके लिये जिम्मेदार हो सकती हैं.
सलाह: चिकन को धोने के बाद अपने हाथों को भली प्रकार से धोएं. चिकन को पूरी तरह से पकाइये. चिकन खरीदने के बाद उसे प्लास्टिक के बैग में रखिये और हमेशा ताजे चिकन के पीस ही इस्तमाल कीजिये.