पाकिस्तानी सेना के आगे फीकी पड़ी पीएम इमरान का फैसला
कोलकाता टाइम्स :
पाकिस्तानी सेना ने आखिर पीएम इमरान खान की फैसला पलट ही दिया। आईएसपीआर प्रमुख मेजर जनरल आसिफ गफूर ने कहा है कि करतारपुर कॉरिडोर के माध्यम से पाकिस्तान के पंजाब प्रांत स्थित करतारपुर साहिब गुरुद्वारे में जाने के लिए भारतीय सिख तीर्थयात्रियों के पास पासपोर्ट होना अनिवार्य है। ज्ञात हो, इससे पहले पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने एक नवंबर को ट्विटर पर करतारपुर कॉरिडोर के पूरे होने की घोषणा की थी। इसके साथ ही उन्होंने आगंतुकों को अपने साथ पहचान पत्र के तौर पर पासपोर्ट लाने और पूर्व पंजीकरण में छूट देने की बात कही थी।
मूल रूप से गुरुद्वारा दरबार साहिब के नाम से लोकप्रिय करतारपुर कॉरिडोर के जरिए भारतीय सिख श्रद्धालु बिना वीजा के वहां जा सकते हैं। गुरुद्वारा दरबार साहिब सिखों का पवित्र धर्मस्थल है, जहां सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव ने अपनी जिंदगी के आखिरी 18 साल बिताए थे और वहीं अपने प्राण त्यागे थे।
इस साल 12 नवंबर को गुरु नानक देव की 550वीं जयंती को यादगार बनाने को लेकर इस कॉरिडोर की स्थापना की गई है। वहीं पाकिस्तान सरकार ने भारतीय तीर्थयात्रियों को गुरु नानक देव की जयंती के अवसर पर कॉरिडोर में प्रवेश करने के लिए 20 डॉलर के प्रवेश शुल्क से भी राहत प्रदान की है। पाकिस्तान का अनुमान है कि उसे करतारपुर यात्रियों से सालाना 3 करोड़ 65 लाख डॉलर की कमाई होगी।