जरूर जाने : कब और कौन न खाये बैगन
कोलकाता टाइम्स :
भारतीय सब्जियों में स्वाद और सेहत के बीच सामंजस्य स्थापित करते बैगन को कौन नहीं जानता। चाहे बैगन का भट्टा बनाये, या सांभर में बैगन डाले, या भरवा बैगन बनाये हर रूप में बैगन स्वादिष्ट बनेगा.बस बैगन के नाम पर ना जाये बैगन गुणो की खान है.बैगन में विटामिन ए, बी, सी, आयरन, कार्बोहाइड्रेट, वसा और प्रोटीन भरपूर पाये जाते हैं। बैंगन के नियमित सेवन से शरीर में बैड कोलेस्ट्रॉल (Cholesterol) का स्तर कम होता है, जिससे दिल के रोगों का रिस्क कम हो जाता है। इस तरह के प्रभाव का प्रमुख कारण है- बैंगन में पोटेशियम व मैंगनीशियम की अधिकता का होना है। बस बैगन बनाते समय हमें कुछ बांतों का ध्यान रखना पड़ता है तभी बैगन का पूरा लाभ मिल पता है।
1 जितना हो सके बैंगन की सब्जी में पूरा बैगन ताज( बैगन के ऊपर की डंडी) सहित डाला जाये।
2 जब भी बैगन की सब्जी बनाये उसमें तेल भरपूर मात्रा में हो।
3 बैगन की सब्जी में हींग जरूर डाली जाए और साथ ही बैंगन की सब्जी केवल ठंड में खाई जाए अर्थात बैगन खाने का उपयुक्त समय दीपावली से होली तक है। इसके समय के बाद बैगन खाने से ऋतू परिवर्तन के कारण फायदे कम नुक्सान ज़्यादा उठाना पड़ सकता है, अतएव स्वाद की तलब में सेहत को नज़रअंदाज़ न करे।
4 बुखार या अनिद्रा से पीड़ित व्यक्ति को बैंगन न खाये।
5 त्वचा रोग ,एलर्जी आदि में भी बैगन नहीं खाना चाहिए।
6 गर्भवती महिलायें भी बैगन से परहेज करें।
7 एसिडिटी हो तो बैगन की तरफ खाना तो दूर देखिये भी नहीं।
8 किसी मानसिक रोग या अवसाद से ग्रसित व्यक्ति बैगन न खाये मर्ज़ बढ़ सकता है।