पैंगोंग सो में अपने कुकर्म के कारण ही मुँह छिपा रहा चीन
कोलकाता टाइम्स :
कई बार नकारने के बाद आखिरकार चीन भारत के साथ बैठक के लिए माना। रविवार को एक बार फिर से पांचवें दौर की कमांडर लेवल की बातचीत हुई। करीब 11 घंटे तक चली इस बैठक में भारत की तरफ से लेह स्थित 14 कोर के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल हरिंदर सिंह थे, जबकि चीनी पक्ष का नेतृत्व दक्षिणी शिनजियांग सैन्य क्षेत्र के कमांडर, मेजर जनरल लियू लिन ने किया।
इस दौरान भारत ने चीन को एक बार फिर से दो टूक शब्दों में एलएसी के तनाव वाले सारे इलाकों से पीछे हटने को कहा है। भारत ने पैंगोंग सो और पूर्वी लद्दाख में एलएसी के पास टकराव वाले सभी स्थानों से चीनी सैनिकों के जल्द से जल्द पूरी तरह पीछे हटने को लेकर जोर डाला।
भारत की तरफ से एक बार फिर से कहा गया है कि 5 मई से पहले वाली स्थिति तत्काल बहाल की जाए। बताया जा रहा है कि चीनी सेना गलवान घाटी और टकराव वाले कुछ दूसरे स्थानों से पहले ही पीछे हट चुकी है, लेकिन भारत की मांग के अनुसार पैंगोंग सो में फिंगर इलाकों से सैनिकों को वापस बुलाने की प्रक्रिया अभी शुरू नहीं हुई है। और अपने इस कुकर्म के कारण ही बैठ से मुँह छुपाता फिर रहा था चीन।
इस बीच भारतीय सेना ने पूर्वी लद्दाख में चीन के साथ सीमा विवाद का समाधान जल्द निकल पाने के संकेत नहीं मिलने के चलते फिर से डेरा डालना शुरू कर दिया है. इलाके के सभी अहम स्थानों पर सैन्य बलों, टैंकों और अन्य हथियारों की मौजूदा संख्या को सर्दियों के महीनों में भी बरकरार रखने की तैयारी शुरू कर दी है।