गलवान की पोल खुलते ही चीन के 4 सैनिक हो गया 38
कोलकाता टाइम्स :
चीन को गलवान घाटी में 2020 में हुई झड़प में उससे कहीं ज्यादा नुकसान हुआ था, जितना कि उसने दावा किया था. साथ ही, कई चीनी सैनिक तेज धारा वाली नदी पार करते हुए अंधेरे में डूब गए थे. ऑस्ट्रेलिया के एक अखबार में बुधवार को यह दावा किया. ‘द क्लैक्सन’ की खबर में अनाम शोधकर्ताओं और चीन के ब्लॉगरों का हवाला दिया गया है. इसमें कहा गया है कि सुरक्षा कारणों से उन्होंने अपना नाम उजागर नहीं किया, लेकिन उन्होंने जो पता लगाया उससे गलवान की घटना पर पर्याप्त रौशनी पड़ती हुई प्रतीत होती है.
खबर में कहा गया है, ‘चीन को हुए नुकसान के दावे नए नहीं हैं लेकिन सोशल मीडिया शोधकर्ताओं के एक समूह द्वारा दिए गए साक्ष्यों से, जिन पर द क्लैक्सन की खबर आधारित है, ऐसा प्रतीत होता है कि चीन को हुआ नुकसान बीजिंग द्वारा बताये गए चार सैनिकों से कहीं ज्यादा था.’ खबर में कहा गया कि इससे यह भी पता चलता है कि बीजिंग उस झड़प के बारे में चर्चा नहीं करने के लिए किस हद तक जा सकता है.
ऑस्ट्रेलियाई अखबार ने सोशिल मीडिया रिसर्च के हवाले से इन्वेस्टिगेटिव रिपोर्ट छापी है. इस रिसर्च के दौरान चाईनीज़ वैबसाइट और सोशल मीडिया अकाउंटस् के साथ-साथ दर्जनों ब्लॉग और हेंडल्स की जांच पड़ताल की गई. चीन की सरकार ने अब तक यही दावा किया है कि इस झड़प में उनके केवल चार सिपाही मारे गये. लेकिन ‘द क्लैक्सन’ की रिपोर्ट के मुताबिक आधी रात को गलवान में नदी की धारा में PLA के कम से कम 38 सैनिक डूब गए. डूबने वालों में जूनियर सार्जेंट वांग झूरोन भी था जिसकी मौत को चीन की सरकार ने कबूल किया था. ऑस्ट्रेलिया अखबार ने चीन के उस फौजी अफसर की फोटो भी जारी की है जिसके बारे में यह दावा किया जा रहा है कि वो झड़प के दौरान वहां मौजूद था. उसका नाम कर्नल कवी फबाओ है और वह उस रात गलवान घाटी में चीनी टुकड़ी का कमांडर था.
गौरतलब है कि गलवान घाटी में चीनी सैनिकों के साथ 15 जून 2020 को भीषण झड़प में 20 भारतीय सैनिक शहीद हो गए थे,