14 घंटे ड्राइविंग सीट पर बिताने वाले ट्रक ड्राइवरों के लिए बनाना ही होगा यह केबिन, 2025 से लागू होगा नियम
देश में ट्रक ड्राइवरों के लिए केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्रालय का ये कदम बहुत राहत देने वाला हो सकता है, जो कड़ी गर्मी, जाड़े और बरसात के दिनों में रोजाना करीब 12 घंटे ड्राइविंग सीट पर बिताते हैं. केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने 2025 से सभी ट्रक केबिनों को अनिवार्य रूप से वातानुकूलित (एसी) करने का आदेश दिया है. इस उन ड्राइवरों को बहुत जरूरी आराम मिलेगा, जो अक्सर अपने पसीने से लथपथ होने के बावजूद ट्रक चलाते रहते हैं. ट्रक ड्राइवरों के काम करने के कठिन हालात और सड़क पर लंबे समय तक लगातार ड्राइविंग की थकान को सड़क दुर्घटनाओं का एक प्रमुख कारण बताया जाता है.
वॉल्वो और स्कैनिया जैसी मल्टीनेशनल कंपनियों के बनाए हाई-एंड ट्रक पहले से ही एयरकंडीशन केबिन के साथ आते हैं. मगर पिछले कई साल से इस मुद्दे पर बहस होने के बावजूद अधिकांश भारतीय कंपनियां इस मामले में आगे बढऩे में कोताही बरत रहीं थी. बहरहाल सोमवार को केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने घोषणा कर दी कि उन्होंने ट्रक केबिन को एसी बनाना अनिवार्य करने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है. उनके बयान में कहा गया कि ट्रक इंडस्ट्री को अपग्रेड करने के लिए 18 महीने की संक्रमण अवधि जरूरी थी.
सड़क परिवहन मंत्रालय ने पहली बार 2016 में इस कदम का प्रस्ताव दिया था. नितिन गडकरी ने कहा कि हमारे देश में कुछ ड्राइवर 12 या 14 घंटे ट्रक पर होते हैं, जबकि अन्य देशों में बस और ट्रक ड्राइवरों के ड्यूटी पर रहने के घंटों की संख्या पर प्रतिबंध है. हमारे ड्राइवर 43 से 47 डिग्री के तापमान में गाड़ी चलाते हैं और हमें ड्राइवरों की हालत की कल्पना करनी चाहिए.