‘रोड’ शब्द से जुड़े रेलवे स्टेशन के नाम, पीछे वजह जान हैरान हो जायेंगे
[kodex_post_like_buttons]
कोलकाता टाइम्स :
आप यदि ट्रेन से नियमित यात्रा करते हैं तो कई स्टेशन के नाम को पढ़कर एक बार जरूर सोचते होंगे कि आखिर इस स्टेशन का नाम ऐसा क्यों पड़ा। किसी स्टेशन के नाम के पीछे जंक्शन, किसी के पीछे हॉल्ट तो किसी के पीछे रोड लगा होता है। जंक्शन और हॉल्ट का मतलब तो आप जानते ही होंगे लेकिन क्या आपको पता है कि आखिर स्टेशन के नाम के पीछे रोड क्यों लगा होता है? तो चलिए आपको बताते हैं कि आखिर ऐसा क्यों होता है?
रेलवे स्टेशन के नाम के पीछे रोड लगाने की बड़ी वजह है। दरअसल, रेलवे लाइन कई बार शहर के बाहरी इलाके से होकर गुजरता है। ऐसे में रेलवे स्टेशन और शहर को जोड़ने के लिए एक सड़क होती है जो दोनों स्थानों को जोड़ने का काम करती है। इसलिए इन स्टेशनों का नाम में रोड शब्द जुड़ा होता है। कभी-कभी एक ही शहर में दो रेलवे स्टेशन होते हैं। एक शहर के पास और एक शहर से दूर। जो रेलवे स्टेशन शहर के पास होता है उसके नाम के आगे रोड नहीं लगाया जाता है।
लेकिन जो रेलवे स्टेशन से दूर होता है उसमें रोड शब्द जुड़ा होता है। उदाहरण के लिए नागपुर और नागपुर रोड। नागपुर शहर में जो रेलवे स्टेशन है उसका नाम नागपुर पड़ा और शहर से जो थोड़ा दूर है उसका नाम नागपुर रोड पड़ा है। मुंबई उपनगरीय रेलवे में, केंद्रीय लाइन पर माटुंगा नामक एक स्टेशन है और पश्चिमी लाइन पर माटुंगा रोड नामक एक स्टेशन है।
ये हैं कुछ उदाहरण हजारीबाग रोड, बिलासपुर रोड, नासिक रोड, डलहौजी रोड, गंगापुर रोड जैसे कई स्टेशन हैं, जहां रेलवे लाइन कस्बे/गांव से नहीं गुजरती है। लाइन आउट-स्कर्ट या उसके आस-पास से गुजरती है। ऐसे मामलों में स्टेशन कस्बे/गांव में नहीं होगा और स्टेशन का नाम शहर/गांव के नाम पर होगा और इसके बाद प्रत्यय के रूप में “सड़क” शब्द जोड़ा जाएगा।