दुनिया के सबसे ऊंचे शिव मंदिर में बजी ऐसी खतरे की घंटी कि किसी भी वक्त ढहने की कगार पर
दुनिया के सबसे ऊंचे शिव मंदिर ‘तुंगनाथ’ पर इस समय एक बड़ा खतरा मंडरा रहा है. उत्तराखंड के रुद्रप्रयाग में मौजूद तुंगनाथ मंदिर देखरेख न होने के चलते एक ओर झुक रहा है. इसके अलावा मंदिर की दीवारों में भी दरारें आ गई हैं. मंदिर के प्रति यूं ही बेरुखी जारी रही तो इसके अस्तित्व पर भी संकट मंडराने लगेगा.
मंदिर के तीर्थ पुरोहित कृष्ण बल्लभ मैठाणी ने समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत में बताया कि मंदिर एक तरफ झुक रहा है. फॉरेस्ट एक्ट के आड़े आने की वजह से इसका जीर्णोद्धार करना भी कठिन हो रहा है. तुंगनाथ की दीवारों पर मोटी दरारें आ गई हैं और सभा मंडप की छत से पानी टपक रहा है. बताया जा रहा है कि स्थानीय तीर्थ पुरोहित लंबे समय से मंदिर के जीर्णोद्धार की मांग कर रहे हैं, लेकिन उनका कहना है कि वन अधिनियम के कारण निर्माण कार्य में अड़चन आ रही है, जिससे जीर्णोद्धार की प्रक्रिया पर असर पड़ा है.