January 19, 2025     Select Language
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नाखूनों की इन सच्चाई को जानना बेहत जरुरी 

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कोलकाता टाइम्स :

नाखून हमारी बॉडी को नेल पेंट्स की मदद से हमारी खूबसूरती बढ़ाने भर के लिए नहीं होती है बल्कि इसका इससे कहीं ज्यादा ही महत्व है। नेल्स के निचले भाग में पाये जाने वाले सफेद भाग को लुनुला (छोटा चांद) कहा जाता है। जानें क्या हैं नाखूनों से संबंधित वे तथ्य जिनसे आप अब तक थे अनजान।

उंगलियों के नाखून हर महीने औसतन 3.5 मिलीमीटर तक बढ़ते हैं
ये एक इंच का दसवां भाग होता है। और उस हाथ में जिससे हम ज्यादा काम लेते हैं उस हाथ की उंगलियों के नाखून अपेक्षाकृत ज्यादा तेजी से बढ़ते हैं। अमेरिकन एकेडमी ऑफ डर्मेटोलॉजी की माने तो पैरों के अंगूठे का नाखून एक महीने में औसतन 1.6 मिलीमीटर तक बढ़ता है।

आपके नाखूनों पर पड़े धब्बे कैल्शिय़म की कमी को नहीं बताते
सभी मानते हैं नाखूनों पर पड़े सफेद स्पॉट कैल्शियम की कमी को बताते हैं। लेकिन ये सच नहीं है। ये नाखूनों में पाये जाने वाले हार्ड सेल्स की निशानी होती है। जिस प्रकार से एक हार्ड प्लास्टिक पेपर को मोड़ने पर एक स्पॉट पड़ जाता है ठीक वैसे ही नाखूनों के साथ भी होता है। ये कहीं से भी नुक्सानदेह नहीं होता है।

बाल जिसके बने होते हैं नाखून भी उसी मैटेरियल के बने होते हैं
बाल और नाखून दोनों केरैटिन नामक मैटेरियल से बने होते हैं। जिस प्रकार से रिच विटामिन, फ्रूट और वेजीटेबल स्वस्थ बालों के लिए जरुरी होता है वैसे ही ये नाखून के लिए भी उतना ही जरुरी होता है।

मेल्स के नाखून फीमेल्स की अपेक्षा तेजी से बढ़ते हैं
शोध में ये पाया गया कि मेल्स के नाखून, फीमेल्स नाखून की अपेक्षा अधिक तेजी से बढ़ते हैं। प्रेग्नेंसी के केस में ये बस अलग होता है।

नेल बाइटिंग को ऑनिकोफैगिया कहा जाता है
ये एक सामान्य नर्वस हैबिट होता है। 10 साल के बच्चो में ये अधिकतर देखा जाता है। इन आदतों में बालों को खींचना, उन्हें घुमाना, दांतो को भींचना इत्यादि शामिल होता हैं। लेकिन 30 उम्र तक आते-आते ये आदत लोग खुद ही छोड़ देते हैं।

नेल्स हमारी पूरी बॉडी के लिए एक विंडो का काम करता है
एक डर्मेटोलॉजिस्ट सिर्फ आपके नाखूनों को देखकर आपके हेल्थ का अंदाजा लगा सकते हैं। तो आप समझ सकते हैं कि हमारी बॉडी में इसकी क्या भूमिका है। कभी-कभी काफी सीरीयस प्रॉब्लम की जांच भी नाखूनों को देखकर किया जा सकता है। आपको ये जान कर हैरानी होगी कि 10 पर्सेंट त्वचा की बीमारियां नाखून से होती हैं

नेल्स विंटर की अपेक्षा, गर्मियों में ज्यादा तेजी से बढ़ते हैं

अलग अलग मौसम में नाखूनों के बढ़ने की गति भी अलग-अलग हो जाती है। ऐसे ही गर्मी में ठंड की अपेक्षा नाखून तेजी से बढ़ते हैं।

स्ट्रेस होने पर भी नाखून देखकर इसका पता लग जाता है
थकान और स्ट्रेस बॉडी एनर्जी को कम कर देता है और न्युट्रीएंट्स को शरीर से दूर कर देता है जिससे नाखून और बालों की ग्रोथ रुक जाती है।

नेल्स में पाए जाने वाले क्युटीकल्स की भी एक वजह होती है
बहुत सारे एक्सपर्ट्स ब्युटी को ध्यान में रखते हुए इसे हटाने की सलाह देते हैं। लेकिन ये बॉडी से मॉइश्चर को सोखती है साथ ही एनवायर्नमेंटल जर्म्स को शरीर से बाहर करने में मदद करती है।

नाखूनों को सर्वाइव करने के लिए खून की जरुरत पड़ती है
कभी कभी थोड़े से इंजरी होने पर नाखून क्यों टूट जाते हैं सोचा है- क्योंकि नेल प्लेट्स में खून के प्रवाह की जरुरत पड़ती है। साथ ही इसे बढ़ने के लिए ऑक्सीजन, और न्युट्रीएंट्स भी जरुरी होते हैं।

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