डॉक्टरों के 15 लीटर बियर पिलाते ही दौड़ने लगी मरीज की बंद लीवर
कोलकाता टाइम्स :
लीजिये इन्हे तो दवा या दुआ नहीं दारू ने बचाया। आपको जानकर हैरानी होगी कि डॉक्टर्स ने एक मरीज की जान बीयर पिलाकर बचाई। वियतनाम के अस्पताल में अल्कोहल पॉइजनिंग के शिकार 48 साल के गुयेन वैन की हालत को देखते हुए डॉक्टरों ने वैन को तुरंत तीन बोतल बीयर चढ़ाई। बताया जा रहा है कि गुयेन वैन के खून में मेथेनॉल की मात्रा सामान्य से 1,119 फीसदी ज्यादा थी। दवा के जरिए उसे बचाया नहीं जा सकता था।
डॉक्टरों ने कुल 15 लीटर बीयर पंप की तब जाकर मरीज का लीवर सामान्य रूप से काम करने लगा। मेडिकल रिपोर्ट्स के मुताबिक, मरीज का लीवर साफ करने के लिए बीयर का इस्तेमाल किया गया था। मामले की जानकारी देते हुए डॉक्टर ने बताया, जब कोई व्यक्ति शराब पीता है तो शराब का सेवन रोक देने की बाद भी रक्त कोशिकाओं तक शराब पहुंचती रहती है। अचेत रहने पर भी शरीर में इसकी मात्रा बढ़ती जाती है।
डाक्टर ने बताया, अल्कोहल दो रूपों में आती है- एथेनॉल और मेथेनॉल. मानव का लीवर पहले एथेनॉल को तोड़ता है। इसलिए डॉक्टरों ने उसके पेट में बीयर पंप करने का फैसला लिया। लीवर ने काम करना लगभग बंद कर दिया था, सामान्य करने के लिए हर एक घंटे पर बीयर पंप की गई।