रेलवे ने इको फ्रेंडली स्टेप के तहत लिया यह बड़ा फैसला
न्यूज डेस्क
इको फ्रेंडली स्टेप के तहत भारतीय रेलवे ने एक अपनी एक महत्वपूर्ण सेवा बंद करने का फैसला लिया। हालाँकि रेलवे की इस सेवा को बंद करने का सीधा असर यात्रियों पर पड़ेगा। नए फैसले के तहत रेलवे ने आई टिकट (i ticket) की बिक्री को बंद कर दिया है। रेलवे की इस सुविधा के तहत यात्री पेपर टिकट को ऑनलाइन ले सकते थे। नया नियम 1 मार्च से लागू हो गया है।
बता दे की, इस सुविधा को आईआरसीटीसी ने साल 2002 में शुरू किया था। इसके अंतर्गत IRCTC की वेबसाइट से रेलवे काउंटर की तरह पेपर टिकट जेनरेट किया जा सकता था। टिकट की बुकिंग होने के बाद रेलवे की तरफ से इस टिकट को यात्री के दिए गए पते पर डिलीवर कर दिया जाता था। इसके लिए रेलवे की तरफ से स्लीपर/ सेकंड क्लास के लिए 80 रुपये और एसी के लिए 120 रुपये प्रति टिकट लिए जाते थे।
चेन्नई, हैदराबाद, बेंगलुरू, मैसूर, मदुरै, कोंयबटूर में आई टिकट को यात्रा की तिथि से दो दिन पहले भी बुक किया जा सकता था। अन्य शहरों में इसे तीन दिन पहले बुक करना होता था। एक रेलवे अधिकारी ने बताया कि साल 2011 में मोबाइल में आए मैसेज को रेलवे टिकट के तौर पर मान्य करने के बाद आई-टिकट को मंगाने वालों की संख्या में कमी आई है। इसके तहत मोबाइल में टिकट बुकिंग का मैसेज और फोटो आईडी दिखाने पर आप ट्रेन में यात्रा कर सकते हैं।
रेलवे अधिकारी ने बताया कि आई टिकट की सुविधा ऐसे यात्रियों के लिए शुरू की गई थी जो ई-टिकट का प्रिंट आउट नहीं ले पाते थे या ग्रामीण इलाकों में रहते हैं। कागज के प्रयोग को कम करने के लिए यह कदम उठाया गया है।