धरती से ज्यादा दूर नहीं ब्लैक होल, यूनिवर्स की कोई भी चीज उसके मुंह में जाने से बच नहीं सकती
कोलकाता टाइम्स :
वैज्ञानिकों ने धरती के सबसे करीब मौजूद एक ब्लैक होल की खोज की है। यह ब्लैक होल धरती से कुछ साढ़े 9 हजार मिलियन किलोमीटर दूर है। पढ़कर आपको ये दूरी बहुत ज्यादा लग सकती है लेकिन यूनिवर्स को समझने वालों की मानें तो ये ब्लैक होल धरती से ज्यादा दूर नहीं है।
ब्लैक होल स्पेस का एक ऐसा तत्व है जिसे लेकर काफी उत्सुकता बनी रहती है। बताया जाता है कि करोड़ों सालों तक जिंदा रहने के बाद जब कोई बड़ा सा तारा बूढ़ा होने लगता है तो उसके अंदर खुद का वजन सहन करने की ताकत नहीं बचती। वह धीरे धीरे अपने ही अंदर सिमटने लगता है और एक एटम जितना छोटा हो जाता है। आप इसे ऐसे भी समझ सकते हैं कि जब कोई बड़ा तारा अपने आखिरी पल में होता है तो उसमे एक बड़ा सा धमाका होता है जिसे सुपरनोवा कहते हैं और उस तारे के तत्व अंतरिक्ष में फैल जाते हैं। मरे हुए तारे अपने पीछे जो ठोस अवशेष छोड़ जाते हैं उसको ब्लैक होल कहते हैं।
इतना शक्तिशाली कि यूनिवर्स की कोई भी चीज उसके मुंह में जाने से बच नहीं सकती, यहां तक कि रोशनी भी ब्लैक होल के भूखे पेट का खाना बन जाती है। जो कुछ भी उसके पास से गुज़रता है, (यहां तक कि आप भी) वो उसे निगल जाता है। आप उससे बचकर निकलने की कोशिश नहीं कर सकते क्योंकि उसकी ग्रैविटी इतनी ज्यादा है कि हम खुद ब खुद उसमें खिंचते चले जाएंगे।