विवश विद्यार्थी चुन रहे, आत्महत्या की राह
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-प्रियंका सौरभ भारी ट्यूशन भीड़ में, सब बच्चे एकांत। रैंकिंग के दबाव में, रह ना पाए शांत।। भोले बचपन पर चले, ऐसे मारक तीर। जीवन कुंठित-सा हुआ, लिए कोचिंग पीर।। निगल गई प्रतियोगिता, मूक हृदय के भाव। सच में अत्याचार है, कोचिंग का लगाव।। चलते ट्यूशन नाम पर, कागज़ के जलयान। सौदा करती मौत का, Continue Reading