नोटबांडी की मार : सबसे बड़ी ट्रेन डकैती के बाद करोड़ों रद्दी रख रोये लुटेरे
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8 अगस्त, 2016 को सेलम-चेन्नई एक्सप्रेस में डकैती पड़ी थी। ट्रेन की पॉर्सल वैन में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) के 345 करोड़ रुपये जा रहे थे। नोटों की सुरक्षा के लिए ट्रेन में हथिय़ारों से लैस 18 गॉर्ड भी थे। लेकिन रात के किसी वक्त पॉर्सल वैन से 5 करोड़ से अधिक के 500 और 1000 रुपये के नोट गायब हो गए। 2 साल बाद सीबीसीआईडी ने केस को खोला है। लेकिन 2 महीने बाद ही डकैती के रुपये रद्दी हो गए। नवंबर में नोटबंदी लागू हो गई। पकड़े गए बदमाशों ने इसका खुलासा किया है।
जांच में सामने आया कि बोगी की छत काटकर डकैती डाली गई है। शुरुआती जांच रेलवे पुलिस जीआरपी ने की। उसके बाद चेन्नई की सिविल पुलिस ने जांच की, लेकिन उसके हाथ भी कुछ नहीं लगा। इसके बाद जांच की जिम्मेदारी सीबीसीआईडी को दी गई। कई महीने की मशक्कत के बाद सीआईडी देश की सबसे बड़ी ट्रेन डकैती का राज खोलने में कामयाब हुई है।